चित्रकूट धाम यात्रा हिंदू धर्म, तीर्थ स्थल, घाट, मंदिर, कुंड , वृक्ष, आश्रम, मेले, किला

चित्रकूट धाम  मध्य प्रदेश के सतना जिले में 
प्रसिद्ध हिंदू धर्म तीर्थ स्थल मंदाकिनी नदी किनारे स्थित रामघाट  ,, मंदाकिनी, पायस्वनी ,, सरजू के संगम पर भगवान राम ने राजा दशरथ की अस्थियां विसर्जित की थी
,, प्रमुख स्थल कामतगिरी पर्वत - भगवान राम वनवांस के समय 11 साल,11 महीने,11 दिन तक निवास किया था,
, कामतनाथ मंदिर -  भगवान राम जी अवतार,, 
कामतगिरी पहाड़ी के सामने लक्ष्मण पहाड़ी है ,
 भरत मिलाप मंदिर -  ( चरण पादुका ) रखी है  भगवान राम जी की
 ,, स्पीतिक शिला पर विश्राम कर रही थी   जानकी माता इंद्र का पुत्र जयंत कौआ ने माता जानकी के पांव में चोंच की टोकर मार कर घायल किया था,
 सीताकुंड -  ( जानकी कुण्ड ) ,
 गुप्त गोदावरी -  ( सबसे प्राचीन फॉसिल मिले )
 विरजा कुंड  - ( बैकुंड की नदी ) , 
हनुमान धारा  - महावीर हनुमान जी जब लंका जलाई के बाद पूंछ की आग यहीं जुझाई थी ,,
 प्रमोद वन वृक्ष रीवा राज्य के विश्व प्रताप सिंह ने लगवाया 
पीपल वृक्ष ( अश्वत्थ वृक्ष ) -  तुलसीदास ने लगाया था
सती अनुसूया आश्रम  - मां सीता को माता अनुसूया जी से ज्ञान लिया था अनुसूया जी के यहां भगवान  ब्रह्म , विष्णु , महेश बाल अवतार लिया था  सती अनुसूया का पुत्र दत्तातिरे थे
बाल्मिकी आश्रम -  ( वास्तविक नाम रत्नाकर भील पेशे से डाकू ) इन्होंने रामायण लिखी और मां जानकी जी ने लव, कुश का इसी आश्रम में जन्म हुआ था 
नरहरी दास की कोटिया - तुलसीदास के गुरु 
साक्षी गोपाल मंदिर ( नवदुर्गा )  -  बरौंधा महारानी चंद्र प्रभा कुंवर
 ने निर्माण करवाया था
गणेशबाग -  इसी को मिनी खजुराहो कहा जाता है 

किला -  माधवगढ़ का किला 
गधों का मेला 
तुलसी शोध संस्थान  - 1991 रामवन सतना 

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